आखिर क्यों बढ़ते जा रहे हैं प्याज के दाम?​ पिछली साल हुआ था कुछ ऐसा…

आखिर क्यों बढ़ते जा रहे हैं प्याज के दाम?​ पिछली साल हुआ था कुछ ऐसा...


सरकार ने प्याज की कीमतों को नियंत्रित करने के लिए दिसंबर 2023 में लगाए गए निर्यात प्रतिबंध को इस वित्त वर्ष की शुरुआत में हटा लिया गया.

रिटेल मार्केट में प्याज और आलू की कीमतों में फिर से उछाल आया है. प्याज के साथ-साथ आलू की कीमतों में भी तेजी आ रही है. गर्मी के सीजन में हरी सब्जियों के साथ आलू-प्याज की कीमतों में हो रहा इजाफा आम जनता के लिए मुसीबत ला रहा है.

रिटेल मार्केट में प्याज और आलू की कीमतों में फिर से उछाल आया है. प्याज के साथ-साथ आलू की कीमतों में भी तेजी आ रही है. गर्मी के सीजन में हरी सब्जियों के साथ आलू-प्याज की कीमतों में हो रहा इजाफा आम जनता के लिए मुसीबत ला रहा है.

प्याज की कीमतों में एक हफ्ते में 50% की वृद्धि हुई है, 2 जून को 25-30 रुपये/किग्रा से बढ़कर 9 जून को 35-40 रुपये/किग्रा हो गई है. 11 जून को प्याज की कीमत 50 रुपये प्रति किलो हो गई है. मंडी में प्याज महंगा होने के कारण खुदरा बाजार में भी प्याज के दाम बढ़ गए हैं.

प्याज की कीमतों में एक हफ्ते में 50% की वृद्धि हुई है, 2 जून को 25-30 रुपये/किग्रा से बढ़कर 9 जून को 35-40 रुपये/किग्रा हो गई है. 11 जून को प्याज की कीमत 50 रुपये प्रति किलो हो गई है. मंडी में प्याज महंगा होने के कारण खुदरा बाजार में भी प्याज के दाम बढ़ गए हैं.

मंडियों में प्याज के दाम लगातार बढ़ रहे हैं. रिपोर्ट्स के मुताबिक नासिक मंडी में 25 मई को 17 रुपये प्रति किलो से बढ़कर अब 25 रुपये प्रति किलो हो गए हैं. सर्वोत्तम गुणवत्ता वाले प्याज 30 रुपये प्रति किलो से ऊपर बिक रहे हैं. दिल्ली तक पहुंचने पर प्याज के दाम में 5-7 रुपये प्रति किलो की वृद्धि होगी.

मंडियों में प्याज के दाम लगातार बढ़ रहे हैं. रिपोर्ट्स के मुताबिक नासिक मंडी में 25 मई को 17 रुपये प्रति किलो से बढ़कर अब 25 रुपये प्रति किलो हो गए हैं. सर्वोत्तम गुणवत्ता वाले प्याज 30 रुपये प्रति किलो से ऊपर बिक रहे हैं. दिल्ली तक पहुंचने पर प्याज के दाम में 5-7 रुपये प्रति किलो की वृद्धि होगी.

रिपोर्ट्स के अनुसार पिछली रबी फसल में प्याज उत्पादन कम होने से मांग और आपूर्ति में अंतर आया, जिससे कीमतों में वृद्धि हुई. जून में बाजार में आने वाला प्याज किसानों और व्यापारियों के भंडार से आता है. वर्तमान में किसान अपने भंडार कम बेच रहे हैं क्योंकि उन्हें कीमतों में और अधिक बढ़ने की उम्मीद है.

रिपोर्ट्स के अनुसार पिछली रबी फसल में प्याज उत्पादन कम होने से मांग और आपूर्ति में अंतर आया, जिससे कीमतों में वृद्धि हुई. जून में बाजार में आने वाला प्याज किसानों और व्यापारियों के भंडार से आता है. वर्तमान में किसान अपने भंडार कम बेच रहे हैं क्योंकि उन्हें कीमतों में और अधिक बढ़ने की उम्मीद है.

Published at : 20 Jun 2024 02:54 PM (IST)

एग्रीकल्चर फोटो गैलरी

एग्रीकल्चर वेब स्टोरीज



Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *